लॉकडाउन के बीच बैंकों की मनमानी से लोग परेशान, नहीं मिल रही लोन की किश्तों कोई रियायत
- anwar hassan
- May 11, 2020
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जयपुर,11 मई (हि.स.)।लॉकडाउन की वजह से अर्थव्यवस्था पटरी से उतर गई और आय न होने से लोगों का जीवन यापन मुश्किल हो गया है। ऐसे में बैंक की किश्तें उनकी चिंता को और बढ़ा रही हैं। हालांकि रिजर्व बैंक ने बैंकों से तीन माह तक किश्त न लेने को कहा था, लेकिन इसका अंतिम निर्णय बैंकों पर ही छोड़ दिया गया। फायदा बैंक उठा रही हैं, अधिकतर बैंकों की ओर से न तो किश्ते तीन माह के लिए आगे बढ़ाई गई हैं और न ही ग्राहकों से पूछकर रकम काटी जा रही है। अगर किसी के खाते में पैसे हैं तो बिना पूछे बैंक अपनी किश्तों का भुगतान कर रही हैं। इससे बैंकों को तो लोन की किश्तें समय पर मिल रही हैं लेकिन जिन लोगों ने ये पैसा अपने घर खर्च के लिए रखा है वे अपना गुजारा कैसे करेंगे इसकी चिंता किसी को नहीं है। इधर कुछ बैंकों द्वारा संकट की इस घड़ी में भी किश्तें न मिलने पर ग्राहकों को बार- बार फोन करके परेशान किया जा रहा है और उन्हें धमकाया जा रहा है। सोढाला निवासी मुकेश खर्रा ने बताया कि उसने बैंक से लोन लेकर शादी समारोह के लिए एक कैमरा ले रखा हैं जबसे लॉकडाउन हुआ है तब से वह घर पर ही है और शादी समारोह का काम- काज पूरी तरह बंद है। ऐसे में घर का खर्चा चलाना ही मुश्किल हो गया है और इस पर बैंक के बार- बार किश्त चुकाने के लिए फोन आने से वह काफी परेशान है। वहीं इस बारे में नरेन्द्र शर्मा ने कहा कि उसने मकान और एक कार के लिए लोन लिया था, उसकी अभी कुछ किश्तें बची हुई हैं। लॉकडाउन की वजह से काम- काज ठप है और बैंक से किश्तों के लिए फोन आ रहा है। नीतू देवी ने कहा कि उसने किश्तों में एक वॉशिंग मशीन ली थी। लेकिन लॉकडाउन की वजह से उसका सन्तूलन बिगड गय। उसके बैंक खाते में कुछ पैसे थे जिन्हें उसने घर खर्च के लिए रखा था। पिछले माह और इस महीने में बैंक ने उससे बिना कोई पूछताछ किए किश्त की रकम काट ली। कामकाज बंद है ऐसे में अब घर खर्च चलाने के लिए पैसे कहां से आएंगे। एक बैंक अधिकारी ने नाम न बताने की शर्त पर कहा कि बैंक पर काफी दबाब है और लॉकडाउन का असर बैंकों पर भी पड़ा है। जिसकी वजह से सामान्य बैंकों के लिए कर्मचारियों के वेतन का भुगतान और अन्य खर्चे भी करना मुश्किल हो गया है। इसी वजह से ग्राहकों से अपील की जा रही है कि वे अगर लोन की किश्तों का भुगतान करने में सक्षम हों तो किश्तें अदा कर सकते हैं। उसने कहा कि हमारी बैंक की ओर से किसी भी ग्राहक को परेशान नहीं किया जा रहा है और अन्य बैंकों के बारे में उसे कोई जानकारी नहीं है।
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