प्रधानमंत्री और संस्थाएं सिर्फ मोदी की छवि बनाने में लगी हुई हैं, राहुल
- Desh Ki Dharti
- Jul 23, 2020
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नई दिल्ली : कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने गुरुवार को ट्वीट करके एक न सिर्फ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर सवाल उठाए, बल्कि चीन से भारत को कैसे निपटना चाहिए, इसे लेकर एक वीडियो भी साझा किया. उन्होंने वीडियो के शेयर करते हुए लिखा, ''प्रधानमंत्री का 100 फीसदी फोकस खुद की छवि बनाने पर है. भारत के सभी संस्थान इसी काम को करने में व्यस्त हैं. एक व्यक्ति की छवि एक राष्ट्रीय दृष्टि का विकल्प नहीं है.''
राहुल गांधी ने इस बयान के साथ एक वीडियो ट्वीट किया है, जिसमें वह चीन के साथ निपटने के लिए अपने सुझाव दे रहे हैं. इस वीडियो में राहुल गांधी खुद बोल रहे हैं कि आपको चीनियों के साथ मानसिक मजबूती के साथ निपटना पड़ेगा. राहुल गांधी चीन के साथ संबंधों को लेकर पूछे गए सवालों का जवाब दे रहे हैं.
भारत को चीन से कैसा निपटना चाहिए?' इस सवाल पर राहुल गांधी बोले, ''यदि आप उनसे निपटने के लिए मजबूत स्थिति में हैं तभी आप काम कर पाएंगे. उनसे वो हासिल कर पाएंगे, जो आपको चाहिए और यह सचमुच किया जा सकता है. लेकिन यदि उन्होंने कमजोरी पकड़ ली, तो फिर गड़बड़ है. पहली बात आप बगैर स्पष्ट दृष्टिकोण के चीन से नहीं निपट सकते और मैं केवल राष्ट्रीय दृष्टिकोण की बात नहीं कर रहा. मेरा मतलब अंतर्राष्ट्रीय दृष्टिकोण से है. बेल्ट एंड रोड, यह धरती की प्रकृति को ही बदलने का प्रयास है.''
राहुल गांधी ने कहा, ''भारत को वैश्विक दृष्टिकोण अपनाना ही होगा. भारत को अब 'विचार' बनाना होगा और वह भी 'वैश्विक विचार'. दरअसल बड़े स्तर पर सोचने से ही भारत की रक्षा की जा सकती है. जाहिर सी बात है कि सीमा विवाद भी है और हमें इसका समाधान भी करना है, लेकिन हमें अपना तरीका बदलना होगा. हमें अपनी सोच बदलनी होगी. इस जगह हम दो राहे पर खड़े हैं. अगर हम एक तरफ जाते हैं तो हम बड़ी भूमिका में आएंगे और अगर दूसरी तरफ चले गए हम अप्रासंगिक हो जाएंगे. इसलिए मैं चिंतित हूं. क्योंकि मैं देख रहा हूं एक बड़ा अवसर गंवाया जा रहा है. क्यों? क्योंकि हम दूर की नहीं सोच रहे. क्योंकि हम बड़े स्तर पर नहीं सोच रहे और क्योंकि हम अपना आंतरिक संतुलन बिगाड़ रहे हैं. हम आपस में लड़ रहे हैं.''
उन्होंने वीडियो में यह भी कहा, ''जरा राजनीति की तरफ देखिए, दिनभर सारा दिन भारतीय आपस में लड़ रहे हैं और इसका कारण है- आगे बढ़ने के लिए किसी स्पष्ट दृष्टिकोण का नहीं होना और मैं जानता हूं कि प्रधानमंत्री प्रतिद्वंदी हैं. मेरी जिम्मेदारी उनसे प्रश्न पूछने की है. मेरा दायित्व है कि मैं उनसे प्रश्न पूछूं, दबाव डालूं ताकि वो काम करें. उनकी जिम्मेदारी है कि वो दृष्टिकोण दें, जो कि नहीं हो रहा है. मैं दावे से आपको कहता हूं कि दृष्टिकोण नहीं है और इसलिए ही चीन भारत भूमि पर घुसा है.''
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