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चुनौतियों भरा वर्ष है, नीचा दिखाने के बजाय एक दूसरे का हाथ थामें रतन टाटा


देश के दिग्गज कारोबारी रतन टाटा ने ऑनलाइन जगत में फैल रही नफरत और ट्रोलिंग के मामलों को लेकर चिंता जताई है। उन्होंने कहा कि हमें एक-दूसरे के खिलाफ नफरत फैलाने की बजाय चुनौतियों से भरे इस साल में एक-दूसरे का समर्थन करना चाहिए। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म इंस्टाग्राम पर रतन टाटा ने कहा कि ऑनलाइन समुदाय एक-दूसरे के लिए हानिकारक हो रहे हैं और एक-दूसरे को नीचे ला रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह वर्ष किसी न किसी स्तर पर सभी के लिये चुनौतियों से भरा है। मैं ऑनलाइन समुदाय को एक-दूसरे के लिए हानिकारक होते हुए देख रहा हूं। लोग त्वरित राय बनाकर एक-दूसरे को नीचा दिखा रहे हैं।


प्रतिष्ठित कारोबारी रतन टाटा ने कहा, 'मेरा मानना है कि यह वर्ष विशेष रूप से हम सभी के लिए एकजुट और मददगार होने का आह्वान करता है और यह एक-दूसरे को नीचे गिराने का समय नहीं है।' एक-दूसरे के प्रति अधिक संवेदनशीलता का आग्रह करते हुए उन्होंने अधिक दयालुता, अधिक समझ और धैर्य की आवश्यकता को दोहराया। टाटा ने कहा कि उनकी ऑनलाइन उपस्थिति सीमित है, लेकिन मुझे वास्तव में उम्मीद है कि यह सदाशयता के स्थान के तौर पर विकसित होगा और नफरत व बदमाशी के बजाय यहां हर किसी का समर्थन किया जाएगा।


रतन टाटा अकसर सोशल मीडिया पर अपनी राय खुलकर जाहिर करते रहे हैं। पिछले दिनों केरल में एक गर्भवती हथिनी को विस्फोटक देकर मारे जाने के मामले में भी उन्होंने खुलकर अपनी राय जाहिर की थी। रतन टाटा ने लिखा था, 'मैं बेहद दुखी और आश्चर्यचकित हूं कि लोगों का एक समूह बेजुबान जानवर की मौत का कारण बना है। इस तरह का कृत्य किसी अन्य व्यक्ति की हत्या किए जाने के बराबर ही है। न्याय की जरूरत है।' गौरतलब है कि कोरोना संकट से निपटने के लिए भी रतन टाटा आगे आए हैं और समूह की ओर से 1,500 करोड़ रुपये की रकम पीएम केयर्स फंड में जमा कराई है।

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