top of page

1 अगस्त को शुक्र बदलेंगे राशि,इन राशिवालों को मिलेंगी शुभ सूचनाएं


शनिवार 1 अगस्त को सुबह 6 बज कर 43 मिनट पर दैत्यों के गुरु शुक्र अपनी ही राशि वृष को छोड़ कर परम मित्र बुध की राशि मिथुन में प्रवेश करेंगे और 31 अगस्त तक यहीं रहेंगे। यहां उनका स्वागत मित्र राहु और बुध करेंगे। शुक्र की दो राशियां हैं- वृष और तुला। भरणी, पूर्वा फाल्गुनी और पूर्वाषाढ़ा इनके नक्षत्र हैं। संगीतज्ञ, नाटककार, फिल्म से जुड़े लोग, वाहन संबंधी कार्य करने वाले, चित्रकार, गायक व राजनेता बनाते हैं शुक्र महाराज।

भृगु ऋषि इनके पिता हैं। इनकी दो पत्नियां हैं - पितरों की पुत्री गो और देवराज इंद्र की पुत्री जयन्ती। अपने शत्रु देवगुरु वृहस्पति की मीन राशि में जाकर शुक्र सर्वाधिक बल प्राप्त करते हैं। कन्या राशि में इनकी कमजोर स्थिति मानी जाती है। इनकी मित्रता बुध, राहु और शनि से है। यह मालाव्य महापुरुष राजयोग बनाते है।

प्रेम विवाह की सफलता और असफलता में इनकी महत्वपूर्ण भूमिका रहती है। यह वृष, मिथुन, कन्या, तुला, मकर और कुंभ लग्न वालों को बड़ा अच्छा फल प्रदान करते हैं। इन्हें इन लग्नों में राजयोग कारक ग्रह कहा जाता है। देवराज इंद्र को इनका अधिदेवता माना जाता है। मृतसंजीवनी विद्या इन्हें खुद भगवान शिव ने प्रदान की है।  आइये जानते हैं शुक्र के मिथुन में जाने से 12 राशियों पर पड़ने वाले प्रभाव को:

मेष, वृष, मिथुन, कर्क, तुला,वृश्चिक, कुंभ और मीन: इन सभी राशि वालों को सब प्रकार का भोग प्राप्त हो सकता है। रुका हुआ धन मिलने की प्रबल संभावना है। मित्रों से मिलने का अवसर मिलने वाला है। संतानहीन को संतान सुख मिल सकता है। संपत्ति विवाद सुलझ सकता है। विदेश यात्रा की योजना बना सकते हैं। पदोन्नति आदि की संभावना है। धन संबंधी प्रयासों में सफलता मिल सकती है। बीमारी आदि की आशंका समाप्त होगी। परिवार में शुभ सूचनाएं मिल सकती हैं।


सिंह, कन्या, धनु और मकर: इन राशि वालों को लेन-देन में दिक्कत आ सकती है। कर्मचारी परेशान कर सकते हैं। अनुबंध टूट सकता है। नारी शक्ति से सावधान रहें। परिजनों की सेहत को लेकर तनाव हो सकता है। प्रेम सम्बंध खराब हो सकते हैं। पैसे की कमी महसूस करेंगे। कार्यालय में विवाद से बचें। नौकरी जाने का भय हो सकता है।

ความคิดเห็น


  • WhatsApp-icon
  • Wix Facebook page
  • Wix Twitter page
  • Wix Google+ page
Copyright Information
© copyrights reserved to "dainik desh ki dharti"
bottom of page